Best Moral Stories in EnglishBest Moral Stories in English
  • Home
  • Education
  • Fables
  • Family
  • Inspiration
  • Life
  • Love
  • Motivation
  • Funny
  • Hindi Stories
    • Akbar-Birbal Stories – अकबर-बीरबल की कहानियां
    • Alif Laila Stories – अलिफ लैला की कहानियां
    • Fairy Tales Stories – परी कथाएं
    • Hindi Inspirational Stories – प्रेरणादायक कहानियां
    • Hindi Motivational Stories
    • Hindi Personal Development Stories
    • Hindi Success Stories
    • Interesting Stories – रोचक कहानियां
    • Mahabharata Stories – महाभारत की कहानियां
    • Mulla Nasruddin’s Stories – मुल्ला नसरुद्दीन की कहानियां
    • Mythological Stories – पौराणिक कहानियां
    • Panchatantra Stories in Hindi (पंचतंत्र की कहानियां)
    • Ramayana Stories – रामायण की कहानियां
    • Tenali Rama Stories – तेनाली रामा की कहानियां
    • जातक कथाएं
Reading: पंचतंत्र की कहानी: ब्राह्मण, चोर और दानव | Thief Brahmin and Demon Story In HIndi
Share
Aa
Aa
Best Moral Stories in EnglishBest Moral Stories in English
Search
  • Home
  • Education
  • Fables
  • Family
  • Inspiration
  • Life
  • Love
  • Motivation
  • Funny
  • Hindi Stories
    • Akbar-Birbal Stories – अकबर-बीरबल की कहानियां
    • Alif Laila Stories – अलिफ लैला की कहानियां
    • Fairy Tales Stories – परी कथाएं
    • Hindi Inspirational Stories – प्रेरणादायक कहानियां
    • Hindi Motivational Stories
    • Hindi Personal Development Stories
    • Hindi Success Stories
    • Interesting Stories – रोचक कहानियां
    • Mahabharata Stories – महाभारत की कहानियां
    • Mulla Nasruddin’s Stories – मुल्ला नसरुद्दीन की कहानियां
    • Mythological Stories – पौराणिक कहानियां
    • Panchatantra Stories in Hindi (पंचतंत्र की कहानियां)
    • Ramayana Stories – रामायण की कहानियां
    • Tenali Rama Stories – तेनाली रामा की कहानियां
    • जातक कथाएं
  • Advertise
© 2022 Moral Stories. All Rights Reserved.
Best Moral Stories in English > Hindi Stories - लघु कथा > Panchatantra Stories in Hindi (पंचतंत्र की कहानियां) > पंचतंत्र की कहानी: ब्राह्मण, चोर और दानव | Thief Brahmin and Demon Story In HIndi
Panchatantra Stories in Hindi (पंचतंत्र की कहानियां)

पंचतंत्र की कहानी: ब्राह्मण, चोर और दानव | Thief Brahmin and Demon Story In HIndi

Moral Stories
4 Min Read
SHARE

एक गांव में द्रोण नाम का ब्राह्मण रहता था। वह बहुत गरीब था। न उसके पास पहनने के लिए अच्छे कपड़े थे और न ही कुछ खाने को था। ब्राह्मण जैसे-तैसे भिक्षा मांगकर अपना गुजारा कर रहा था। उसकी गरीबी को देखकर एक यजमान को उस पर दया आ गई। उसने द्रोण को बैलों का एक जोड़ा दान में दे दिया।

बैलों को गौधन मानकर ब्राह्मण द्रोण उनकी सेवा पूरी लगन के साथ करने लगा। उसे बैलों से इतना प्रेम था कि वो खुद कम खाता था, लेकिन बैलों को भरपेट खिलाता था। ब्राह्मण की सेवा पाने के बाद दोनों बैल तंदुरुस्त हो गए। एक दिन हटेकट्टे बैलों पर चोर की नजर पड़ गई। बैलों को देखते ही चोर ने मन-ही-मन बैलों को चुराने की योजना बना ली।

योजना बनाने के बाद रात होते ही चोर ब्राह्मण के घर बैल चुराने के इरादे निकल गया। कुछ दूर चलते ही चोर का सामना एक भयानक राक्षस से हुआ। राक्षस ने चोर से पूछा, “तुम इतनी रात को कहां जा रहे हो?” चोर ने कहा, “मैं ब्राहमण के बैल चोरी करने जा रहा हूं।”  चोर की बात सुनकर राक्षस बोला, “चलो मैं भी तुम्हारे साथ चलता हूं। मैं कई दिनों से भूखा हूं। मैं उस ब्राह्मण को खाकर अपनी भूख शांत करूंगा और तुम उसके बैल ले जाना।”

चोर के मन में हुआ कि रास्ते के लिए एक साथी भी हो जाएगा, तो इसे साथ ले जाने में कोई बुराई नहीं है। यह सोचकर चोर अपने साथ राक्षस को साथ लेकर ब्राह्मण के घर पहुंचा।

ब्राह्मण के घर पहुंचकर राक्षस बोला, “पहले मैं ब्राह्मण को खा लेता हूं, उसके बाद तुम बैल चुरा लेना।” चोर ने कहा, “नहीं, पहले मैं बैल चुराउंगा उसके बाद तुम ब्राह्मण को खाना। अगर तुम्हारे आक्रमण से ब्राह्मण जाग गया, तो मैं बैल चुरा नहीं पाऊंगा।” फिर राक्षस बोला, “जब तुम बैल खोलोगे, तो उसकी आवाज से भी ब्राह्मण जागकर अपनी रक्षा कर सकता है। मैं इस चक्कर में भूखा रह जाऊंगा।”

राक्षस और चोर दोनों इसी तरह बहस करते रहे। एक दूसरे कि बात मानने को उनमें से कोई तैयार नहीं था। उसी बीच राक्षस और चोर की आवाज सुनकर ब्राह्मण जाग गया। ब्राह्मण को जागा देखकर जल्दी से चोर बोला, “हे! ब्राह्मण देखो यह राक्षस आपको खाने आया है, लेकिन मैंने इससे आपको बचा लिया। इसने कई बार आपको खाने की कोशिश भी की पर मैंने ऐसा होने नहीं दिया।”

चोर की बात सुनकर राक्षस ने भी तुरंत कहा, “नहीं ब्राह्मण, मैं आपको खाने नहीं, बल्कि आपके बैलों की रक्षा करने के लिए यहां आया हूं। यह चोर आपके बैल चुराने आया था।” दोनों की बात सुनकर ब्राह्मण को शक हुआ। खतरे को भांपते हुए ब्राह्मण ने फटाफट डंडा उठाया और दोनों को भगा दिया।

कहानी से सीख: हमें हमेशा परिस्थिति के अनुसार काम करना चाहिए, जैसे इस कहानी में ब्राह्मण ने किया। उसे चोर व राक्षस की बात सुनने के बाद अपनी आत्मरक्षा के लिए डंडा उठा लिया, जो उस परिस्थिति के लिए बिल्कुल सही था।

You Might Also Like

पंचतंत्र की कहानी: बोलने वाली गुफा | Bolnewali Gufa Panchtantra

नेवला और ब्राह्मण की पत्नी की कहानी | The Brahmani & The Mongoose Story In Hindi

बूढ़ा आदमी, युवा पत्नी और चोर | Budha Aadmi Yuva Patni Aur Chor Story In Hindi

पंचतंत्र की कहानी: संगीतमय गधा | The Musical Donkey In Hindi

Share this Article
Facebook Twitter Copy Link Print
Share
Previous Article Bag of Potatoes – Burden of Jealousy or Envy!
Next Article अलिफ लैला –  अबुल हसन और हारूं रशीद की प्रेयसी शमसुन्निहर की कहानी

Latest News

The Other Side Of The Wall
Motivation November 14, 2022
Practice Makes Perfect – Don’t Quit!
Motivation November 14, 2022
Laziness won’t get you anywhere
Motivation November 14, 2022
Don’t say something you regret out of anger
Motivation November 14, 2022
Moral Stories a collection of best educational, inspirational, motivational stories and fables for everyone of any age in English and Hindi. “Learning What Matters” – Is what we at moralstories.net focus on.
  • Fables
  • Education
  • Family
  • Inspiration
  • Life
  • Love
  • Motivation
  • Famous Personalities
  • Funny
  • Hindi Stories – लघु कथा
  • Akbar-Birbal Stories – अकबर-बीरबल की कहानियां
  • Fairy Tales Stories – परी कथाएं

© 2022 MoralStories.Net . All Rights Reserved.

Removed from reading list

Undo
Welcome Back!

Sign in to your account

Lost your password?